इस लग्न के जातक अत्यंत व्यवहारिक जीवन यापन करते हैं

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मकर लग्नः मकर लग्न का स्वामी का शासक शनि देव हैं। शनि के प्रभाव से इस लग्न के जातक अत्यन्त व्यवहारिक जीवन यापन करते हैै। शुक्र इस लगन कुण्डली में अत्यन्त योगकारक ग्रह होता है। बृहस्पति की दशा इस लग्न के जातक की कुण्डली में थोड़ी खराब होती है।
बुध, मकर लग्न में 6वें घर का स्वामी होता है, लेकिन ये 9वें घर पर भी शासन करता है। जिसकी वजह से इनकी कुण्डली में थोड़ा मिश्रित फल देने वाला ग्रह बन जाता है।
शुभ ग्रहः शुक्र पंचमेश व दशमेश होकर, शनि लग्नेश व द्वितीयेश होकर तथा बुध नवमेश होकर कारक होते है। इनकी दशा-महादशा फलदायक होती है, जब ये ग्रह अच्छी स्थिति में हो।
अशुभ ग्रहः बृहस्पति, मंगल व चन्द्रमा इस लग्न के लिए अत्यन्त अशुभ होते है। इनकी दशा-महादशा कष्टकारी सिद्व होती है।
तथस्ट ग्रह: मकर लग्न के लिए सूर्य तटस्थ ग्रह हो जाता है।

दिनेश अग्रवाल
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धनु लग्न को भाग्यशाली लग्न कहा जाता है

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