वित्तीय अनुशासन से सुदृढ़ होगी हिमाचल की आर्थिक व्यवस्था

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शिमला, 12 जून। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व में वर्तमान राज्य सरकार ने अपनी दृढ़ इच्छा-शक्ति को प्रदर्शित करते हुए सभी विधायकों और अधिकारियों को आम जनता की श्रेणी में लाने का निर्णय लिया है। इसके तहत दिल्ली स्थित हिमाचल भवन व हिमाचल सदन और चंडीगढ़ में स्थित हिमाचल भवन में रहने पर मुख्यमंत्री, मंत्रियों और विधायकों के लिए किराये के कमरों की दर अब सभी के लिए एक समान 1200 रुपये प्रतिदिन कर दी गई है, जो यह दर्शाता है कि यह सरकार सभी के प्रति समान दृष्टिकोण रखती है।
इस निर्णय का हालांकि कुछ विधायक और अधिकारी विरोध कर रहे थे, लेकिन मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने उनकी सलाह को नजरअंदाज करते हुए सभी के लिए एक समान 1200 रुपये किराया निर्धारित कर लागू भी कर दिया है। मुख्यमंत्री का तर्क है कि जब आम लोग 1200 रुपये किराया अदा कर सकते हैं तो विधायक व अधिकारी ऐसा क्यों नहीं कर सकते हैं।
वर्तमान सरकार के इस निर्णय से सरकारी खजाने का बोझ भी कम होगा। प्रतिवर्ष प्रदेश सरकार लगभग 5 करोड़ रुपये ग्रांट-इन-एड के रूप में हिमाचल प्रदेश पर्यटन विकास निगम को हिमाचल भवन तथा हिमाचल सदन दिल्ली, हिमाचल भवन चंडीगढ़ में ठहरने वाले विशिष्ट व्यक्तियों के खर्च के रूप में देती थी। सरकार के इस निर्णय से राज्य सरकार के लगभग 5 करोड़ रुपये की बचत होगी, जिसे विकास के अन्य कार्यों पर व्यय किया जाएगा।
वर्तमान राज्य सरकार का यह निर्णय ‘आम जनता की सरकार’ को परिभाषित करता है। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू कई मौकों पर कह चुके हैं कि हम सत्ता सुख के लिए नहीं, बल्कि व्यवस्था परिवर्तन के लिए आए हैं। मुख्यमंत्री ने अनेक महत्वाकांक्षी निर्णय लेकर इस सोच को चिरतार्थ किया है। प्रदेश की जनता को लाभान्वित करने के लिए वर्तमान सरकार मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू के कुशल नेतृत्व में शिक्षा, स्वास्थ्य और अन्य क्षेत्रों में व्यवस्था परिवर्तन की दिशा में अनेक निर्णय लिए हैं, जिससे न केवल प्रदेश में विकास की गति में तेजी आई है बल्कि कल्याणकारी योजनाओं के कार्यान्वय से आम जनता को लाभ पहुंचा है।

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