शिमला, 11 मई। प्रदेश के सभी स्वास्थ्य संस्थानों में कोविड महामारी के दौरान मरीजों के उपचार में उपयोग होने वाला रेमडेसिविर इंजेक्शन पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है और किसी भी जिले में इस इंजेक्शन की कोई कमी नहीं है। प्रदेश के सभी स्वास्थ्य संस्थानों को आवश्यकता और मांग के अनुसार इस इंजेक्शन की आपूर्ति सुनिश्चित की जा रही है ताकि किसी को रेमडेसिविर के लिए परेशानी न उठानी पड़े।
राज्य के पास वर्तमान समय में किसी भी स्थिति से निपटने के लिए प्रदेश भर में कुल 6425 रेमडेसिविर इंजेक्शन स्टॉक में उपलब्ध हैं। इनमें से लगभग 2300 रेमडेसिविर इंजेक्शन स्वास्थ्य विभाग के राज्य भंडारण केंद्र में हैं जबकि 4125 इंजेक्शन विभिन्नि जिलों को उपलब्ध करवाए गए हैं।
प्रदेश के विभिन्न जिलों में रेमडेसिविर इंजेक्शन की स्थिति पर नजर डाली जाए तो जिला शिमला में सबसे अधिक रेमडेसिविर इंजेक्शन उपलब्ध हैं जहां एक हजार इंजेक्शन उपलब्ध हैं। इसके अतिरिक्त मंडी जिले में 713, चंबा में 250, हमीरपुर में 250, सोलन में 534, कुल्लू में 238, सिरमौर में 400, ऊना में 120, बिलासपुर में 100 और कांगड़ा में 520 रेमडेसिविर इंजेक्शन उपलब्ध हैं।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के मिशन निदेशक डा. निपुण जिंदल ने बताया कि राज्य में महामारी की इस दूसरी लहर में मरीजों के जीवन को बचाने के लिए आवश्यक जीवन रक्षक दवाईयों, रेमडेसिविर इंजेक्शन व ऑक्सीजन सहित अन्य विभिन्न वस्तुओं की कोई कमी नहीं है।
उन्होंने कहा कि मरीजों के उपचार में आवश्यक हर चीज को राज्य सरकार द्वारा प्राथमिकता के आधार पर उपलब्ध करवाने के प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने प्रदेश की जनता का आह्वान किया है कि वे कुछ लोगों द्वारा फैलाई जा रहीं अफवाहों पर विश्वास नहीं करें और न इन पर कोई ध्यान दें।
उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार स्वास्थ्य संस्थानों और होम क्वारंटीन केंद्रों में बेहतर उपचार सुविधाएं उपलब्ध करवा रही है और ऑक्सीजन, दवाओं, मास्क, पीपीई किट्स आदि की कोई कमी नहीं है। इसके अलावा, संक्रमित लोगों की उचित देखभाल के लिए भी पर्याप्त प्रबंध किए गए हैं।